Indian Rupee vs Dollar: बुधवार को विदेशी मुद्रा बाजार में भारतीय रुपया कमजोरी के साथ खुला। डॉलर के मुकाबले रुपया 5 पैसे टूटकर 86.41 के स्तर पर आ गया, जबकि पिछला बंद भाव 86.36 था। इससे साफ है कि रुपये की शुरुआत हल्की कमजोरी के साथ हुई है।
बाजार की नजर किस पर:
जानकारों का कहना है कि डॉलर की मजबूती और विदेशी फंड्स की निकासी का सीधा असर रुपये पर देखने को मिल रहा है। साथ ही, अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कच्चे तेल की कीमतों में हलचल और अमेरिकी फेडरल रिजर्व की संभावित पॉलिसी दिशा को लेकर भी निवेशक सतर्क हैं।
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विदेशी संकेतों का असर:
अमेरिका से आए मजबूत आर्थिक आंकड़े और डॉलर इंडेक्स में आई मजबूती ने एशियाई करेंसीज़ पर दबाव बनाया है, जिसका असर भारतीय रुपये पर भी देखने को मिला। बाजार फिलहाल अमेरिका की ब्याज दरों से जुड़ी किसी भी बड़ी घोषणा का इंतजार कर रहा है।
क्या कहते हैं विशेषज्ञ:
करेंसी एक्सपर्ट्स का मानना है कि निकट भविष्य में डॉलर की मांग अगर मजबूत बनी रहती है, तो रुपये में और कमजोरी देखने को मिल सकती है। हालांकि, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा किसी भी अस्थिरता को रोकने के लिए हस्तक्षेप की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता।
इम्पोर्टर्स पर असर:
रुपये की गिरावट का असर उन कंपनियों पर सबसे ज्यादा पड़ेगा जो भारी मात्रा में आयात पर निर्भर हैं। खासकर ऑयल मार्केटिंग कंपनियों और इलेक्ट्रॉनिक्स इंडस्ट्री के मार्जिन पर दबाव बन सकता है।
आगे की रणनीति:
बाजार अब यह देखेगा कि क्या रिजर्व बैंक रुपये को स्थिर बनाए रखने के लिए फॉरेक्स मार्केट में दखल देता है या नहीं। निवेशकों को सलाह दी जाती है कि वे आने वाले आर्थिक आंकड़ों और अमेरिकी सेंट्रल बैंक की टिप्पणियों पर नजर बनाए रखें।

आरव भारद्वाज भारतीय शेयर बाज़ार और व्यवसाय जगत से जुड़ी ख़बरों का गहन विश्लेषण करते हैं। उन्हें वित्तीय रुझानों, IPO अपडेट्स और निवेश रणनीतियों पर लेखन का ठोस अनुभव है। BazaarBits पर उनका उद्देश्य निवेशकों तक विश्वसनीय और सटीक जानकारी पहुँचाना है।