रेखा झुनझुनवाला: शेयर बाजार में बड़े निवेशकों की हरकतें हमेशा ध्यान का केंद्र रहती हैं। हाल ही में, रेखा झुनझुनवाला, जो कि प्रसिद्ध निवेशक राकेश झुनझुनवाला की संपत्ति की कार्यकारी हैं, ने नाज़ारा टेक्नोलॉजीज़ लिमिटेड में अपनी पूरी हिस्सेदारी बेच दी है। यह विक्रय जून 2025 में कई अलग-अलग लेन-देन के माध्यम से 2 से 13 जून के बीच हुआ। इस बिक्री का मूल्य लगभग 770 करोड़ रुपए आंका गया, जिससे उन्हें चार गुना रिटर्न मिला।
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गेमिंग रेगुलेशन से पहले हुई निकासी
इस कदम की समयसीमा महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह ऑनलाइन गेमिंग बिल के पास होने से कुछ सप्ताह पहले हुआ। अगस्त 2025 में पास हुए इस नए कानून के तहत ऑनलाइन मनी गेमिंग सेवाओं पर सख्त पाबंदी लगाई गई है। उल्लंघन करने पर तीन साल तक की जेल और 81 करोड़ रुपए तक का जुर्माना हो सकता है। ऐसे में झुनझुनवाला की समय पर निकासी को बाजार में एक समझदारी भरा कदम माना जा रहा है।
नाज़ारा के शेयरों पर असर
रेखा झुनझुनवाला की हिस्सेदारी बिकने के बाद, नाज़ारा के शेयर में 14% की गिरावट दर्ज हुई, जिससे कंपनी के बाज़ार मूल्य में 71,700 करोड़ रुपए से अधिक की कमी आई। पिछले सप्ताह ही शेयर 19% कम हो चुके थे। इस बीच, अन्य प्रमुख निवेशक जैसे मधुसूदन केला (1.18%) और निखिल कामथ (1.62%) अभी भी कंपनी में निवेशित हैं।
नए गेमिंग बिल का प्रभाव
हालांकि नाज़ारा टेक्नोलॉजीज़ का मुख्य फोकस कैजुअल और ईस्पोर्ट्स गेमिंग पर है, नए कानून का प्रभाव उनके सहयोगी संगठन मूनशाइन टेक्नोलॉजीज़ के माध्यम से पड़ा। मूनशाइन टेक्नोलॉजीज़ पोकरबाज़ी की मालिक है, और इसका व्यवसाय नाज़ारा के मूल्यांकन का करीब 35% दर्शाता है। मूनशाइन ने वित्त वर्ष में 192 करोड़ रुपए का राजस्व कमाया, लेकिन 73.9 करोड़ रुपए का ईबीआईटीडीए नुकसान हुआ।
निवेशकों के लिए संदेश
इस स्थिति से स्पष्ट होता है कि कानूनी बदलाव किसी भी कंपनी की वैल्यूएशन और निवेशकों के निर्णय पर तेज़ी से असर डाल सकते हैं। रेखा झुनझुनवाला का यह कदम यह दिखाता है कि अनुभवी निवेशक समय रहते जोखिम से बचने के लिए रणनीति बनाते हैं।
नाज़ारा के शेयर का हाल
- NAZARA: ₹1,157
- गिरावट: ₹48.20 (-4.00%)
विशेषज्ञों का मानना है कि नया गेमिंग बिल, भले ही सीधे नाज़ारा के मुख्य बिजनेस को टार्गेट न करता हो, लेकिन सहयोगी कंपनियों के कारण इसका नकारात्मक प्रभाव कंपनी की मार्केट वैल्यू पर पड़ा है। ऐसे समय में निवेशकों को सावधानीपूर्वक रणनीति बनाना और कानूनी परिवर्तनों पर ध्यान देना ज़रूरी है।

आरव भारद्वाज भारतीय शेयर बाज़ार और व्यवसाय जगत से जुड़ी ख़बरों का गहन विश्लेषण करते हैं। उन्हें वित्तीय रुझानों, IPO अपडेट्स और निवेश रणनीतियों पर लेखन का ठोस अनुभव है। BazaarBits पर उनका उद्देश्य निवेशकों तक विश्वसनीय और सटीक जानकारी पहुँचाना है।