Share Market Update: भारतीय शेयर बाजार में गिरावट का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। शुक्रवार को भी सेंसेक्स और निफ्टी दोनों सूचकांकों में भारी दबाव देखने को मिला। इस तरह लगातार छठे कारोबारी दिन बाजार लाल निशान पर बंद हुआ। एनएसई निफ्टी 1% टूटकर 24,654.70 पर आ गया, जबकि बीएसई सेंसेक्स 0.9% गिरकर 80,426.46 के स्तर पर बंद हुआ। पिछले छह सत्रों में दोनों प्रमुख इंडेक्स करीब 3% तक फिसल चुके हैं।
यह भी पढ़ें: Defence Stocks News: रक्षा और ऑटो सेक्टर में निवेश का है सुनहरा अवसर, विशेषज्ञ ने दी राय
अमेरिकी टैरिफ और वीज़ा शुल्क का असर
इस गिरावट की सबसे बड़ी वजह अमेरिका की ओर से आयात पर नए टैरिफ लगाने की आशंका और एच-1बी वीज़ा शुल्क में बड़ी बढ़ोतरी को माना जा रहा है। खबरों के मुताबिक, अमेरिका ब्रांडेड दवाइयों पर 100% तक का शुल्क लगाने की तैयारी कर रहा है। वहीं, हैवी-ड्यूटी ट्रकों पर 25% टैरिफ का प्रस्ताव है। इसके साथ ही एच-1बी वीज़ा की नई आवेदन फीस को बढ़ाकर लगभग 1 लाख डॉलर करने की बात सामने आई है। इन निर्णयों का सीधा असर आईटी और फार्मा कंपनियों पर पड़ा है।
आईटी और फार्मा सेक्टर में भारी दबाव
शुक्रवार को निफ्टी आईटी इंडेक्स 2.5% लुढ़क गया, जबकि निफ्टी फार्मा 2.1% की गिरावट के साथ बंद हुआ। आईटी सेक्टर पर अतिरिक्त दबाव इसलिए भी बढ़ा क्योंकि कंसल्टिंग दिग्गज एक्सेंचर ने अगले वित्त वर्ष के लिए अपने बिजनेस आउटलुक को लेकर सतर्क रुख अपनाया है। इससे निवेशकों की धारणा और कमजोर हो गई।
मिडकैप और स्मॉलकैप में भी बिकवाली
केवल आईटी और फार्मा ही नहीं, बल्कि सभी सेक्टोरल इंडेक्स लाल निशान पर बंद हुए। मिड-कैप और स्मॉल-कैप शेयरों में भी बिकवाली का दबाव रहा। निफ्टी मिडकैप 1.9% टूटा, जबकि स्मॉलकैप 2.1% गिर गया। निवेशकों में घबराहट का आलम यह रहा कि भारत का वोलैटिलिटी इंडेक्स (VIX) 5.9% उछलकर 11.43 पर पहुंच गया, जो आने वाले समय में और अस्थिरता की ओर इशारा करता है।
निवेशकों की खरीद-बिक्री और रुपया
विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (FPIs) ने शुक्रवार को बाजार से लगभग 5,687.6 करोड़ रुपये की बिकवाली की। हालांकि, घरेलू संस्थागत निवेशकों (DIIs) ने खरीदारी करते हुए 5,843.2 करोड़ रुपये लगाए, जिससे बाजार को कुछ सहारा मिला।
रुपये की स्थिति भी कमजोर रही। डॉलर के मुकाबले रुपया अपने ऐतिहासिक निचले स्तर के पास कारोबार करता दिखा। माना जा रहा है कि भारतीय रिजर्व बैंक ने बीच-बीच में हस्तक्षेप कर गिरावट को और गहराने से रोका।

आरव भारद्वाज भारतीय शेयर बाज़ार और व्यवसाय जगत से जुड़ी ख़बरों का गहन विश्लेषण करते हैं। उन्हें वित्तीय रुझानों, IPO अपडेट्स और निवेश रणनीतियों पर लेखन का ठोस अनुभव है। BazaarBits पर उनका उद्देश्य निवेशकों तक विश्वसनीय और सटीक जानकारी पहुँचाना है।